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    Sunday, April 8, 2018

    भारत सरकार ने ऑक्सीटोसिन के आयात पर रोक लगाई: Government bans imports of hormone oxytocin। भारत सरकारने ‘ऑक्सीटोसिन’ हार्मोनच्या आयातीवर बंदी आणली

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    भारत सरकार ने ऑक्सीटोसिन के आयात पर रोक लगाई:
    भारत सरकार ने 'लव हार्मोन' अर्थात ऑक्सीटोसिन के आयात पर 06 अप्रैल 2018 को रोक लगा दी है। सरकार ने इस प्रकार का कदम ज्यादा दूध उत्पादन के लालच से पशुओं में हो रहे इसके अनियंत्रित इस्तेमाल को देखते हुए उठाया है।
    दरअसल ऑक्सीटोसिन वो हार्मोन है, जिसका इस्तेमाल जानवरों में दूध के उत्पादन की बढ़ोतरी के लिए किया जाता है। विशेषज्ञों के अनुसार, ऑक्सीटोसिन के ज्यादा इस्तेमाल से जानवरों में हार्मोन का संतुलन बिगड़ जाता है, साथ ही उनकी आयु भी कम हो जाती है। इतना ही नहीं, लम्बे समय तक ऑक्सीटोसिन देने से पशुओं में बांझपन की शिकायत बढ़ती है।
    सरकार ने ऑक्सीटोसिन के घरेलू उत्पादन को पर्याप्त बताते हुए, इसके आयात पर तत्काल रोक लगा दी है। इसके साथ ही सरकार ने उत्पाद विभाग को सतर्क रहने को कहा है ताकी गैरकानूनी तरीके से इसका आयात ना हो सके। महिला एवं बाल विकास मंत्री मेनका गांधी ने कहा कि ऑक्सीटोसिन का दुरुपयोग जानवरों के जीवन को कम करता है, उनमें बांझपन को बढ़ाता है।
    भारत सरकार ने 2014 में ऑक्सीटोसिन की बिक्री पर रोक लगा दी थी। सरकार ने इसकी खुदरा बिक्री पर रोक लगाते हुए निर्देश जारी किया था कि यह इंजेक्शन केवल मवेशियों के सरकारी अस्पताल में सप्लाई की जा सकती है। इंजेक्शन मवेशियों को प्रसव के समय दिया जा सकता है।
    ऑक्सीटोसिन:
    ऑक्सीटोसिन एक शक्तिशाली हार्मोन है जो मस्तिष्क में एक न्यूरोट्रांसमीटर के रूप में कार्य करता है। यह सामाजिक संपर्क और यौन प्रजनन को बढ़ाता है. साथ ही मातृ-शिशु बंधन के व्यवहार में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। ऑक्सीटोसिन को ही 'लव हार्मोन' की संज्ञा दी जाती है।
    ऑक्सीटोसिन के दुष्प्रभाव:
    ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन लगे हुए पशुओं से प्राप्त दूध के उपभोग के कारण मानवों पर कई प्रतिकूल प्रभाव पड़ते हैं। मेडिकल विशेषज्ञों ने यह भी बताया है कि इस ड्रग के इस्तेमाल से मनुष्यों में हार्मोनल असंतुलन हो सकता है। जानवरों में ऑक्सीटोसिन का उपयोग अनैतिक माना जाता है क्योंकि दूध निकालने के लिए यह प्रयोग जानवरों के लिए दर्दनाक है, इस हार्मोन की वजह से मवेशियों के गर्भाशय का संकुचन हो जाता है।

    Government bans imports of hormone oxytocin
    Indian government has banned imports of the hormone oxytocin to stop its misuse in the livestock industry, where activists say it causes hormonal imbalances and shortens the lives of milch animals. 
    What is hormone oxytocin?
    • Oxytocin is released naturally in human bonding activities such as sex, childbirth and breastfeeding. It is also called Love Hormone.
    • Oxytocin is a hormone and a neurotransmitter that is involved in childbirth and breast-feeding. It is also associated with empathy, trust, sexual activity, and relationship-building.
    • Oxytocin is produced in the hypothalamus, a part of the brain.
    • The drug form of Oxytocin is also used in human as well as animals.
    The government has decided to rely on domestic production to satisfy requirements of the hormone, ordering an immediate ban on imports, whether for human or animal use. 
    Side-effects of Oxytocin
    • There are many adverse effects on humans due to consumption of milk obtained from animals subjected to oxytocin injections. Medical experts have pointed out that use of the drug can cause hormonal imbalance in humans.
    • The use of oxytocin in animals is considered unethical because the use for milk let down is painful to animals as the action of hormone causes the uterus of the cattle to contract, causing immense pain. 

    भारत सरकारने ‘ऑक्सीटोसिन’ हार्मोनच्या आयातीवर बंदी आणली

    भारत सरकारने ‘ऑक्सीटोसिन’ हार्मोनच्या आयातीवर बंदी आणली आहे. अधिक दूध उत्पादनासाठी पशूंमध्ये होत असलेल्या अनियंत्रित उपयोगामुळे हा निर्णय घेतला आहे.
    ‘ऑक्सीटोसिन’ हार्मोनचा वापर पशूंमध्ये दूध उत्पादनात वाढ करण्यासाठी केला जातो. संशोधकांच्या अभ्यासातून आसे आढळून आले आहे की, ऑक्सीटोसिनच्या अत्याधिक वापरामुळे पशूंमधील हार्मोनचे संतुलन बिघडते, सोबतच त्यांचे आयुर्मानही कमी होते. शिवाय दीर्घकाळापर्यंत ऑक्सीटोसिन दिल्यामुळे पशूंमध्ये वंध्यत्व येण्याची शक्यता वाढते.
    ऑक्सीटोसिनच्या वापरामुळे मिळालेल्या दुधाच्या सेवनामुळे मानवी आरोग्यावर काही प्रतिकूल प्रभाव झाल्याचे दिसून आले आहे. त्याचा मानवाच्या हार्मोनवरही परिणाम दिसून आला आहे.

    शासनाने ऑक्सीटोसिनच्या देशांतर्गत उत्पादनाला पुरेसे म्हणत, त्याच्या आयातीवर तात्काळ बंदी आणली आहे. यापूर्वी शासनाने 2014 साली ऑक्सीटोसिनच्या विक्रीवर बंदी आणली होती.

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